Super Exam Chemistry Hydrocarbons / हाइड्रोकार्बन Question Bank कार्बनिक रसायन, हाइड्रोकार्बन एवं ईंधन

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    आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में मर्इ, 2020 को स्टाइरीन (Styrene) गैस के रिसाव की दुर्घटना घटी। इस घटना क्रम के सन्दर्भ में कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
    1. स्टाइरीन गैस बेंजीन यौगिक का व्युत्पन्न है।
    2. स्टाइरीन गैस एक अकार्बनिक यौगिक है।
    3. यह घटना एलजी पॉलीमर लिमिटेड कंपनी के संयंत्र में हुर्इ थी।
    कूट:

    A) केवल 1 और 2           

    B) केवल 1 और 3

    C) केवल 2 और 3           

    D) उपरोक्त में से कोर्इ नही

    Correct Answer: B

    Solution :

    उत्तर - केवल 1 और 3
    व्याख्या - आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में 7 मर्इ, 2020 को स्टाइरीन (Styrene) गैस के रिसाव की दुर्घटना हुर्इ थी। इस गैस का रिसाव विशाखापत्तनम के विजाग गोपालापट्टनम के पास आर आर वेंकटपुरम गांव में स्थित एलजी पॉलीमर लिमिटेड कंपनी के संयंत्र से हुआ था जिससे 5 किमी का क्षेत्र अत्यधिक प्रभावित हुआ। इस प्लांट को 1961 में हिन्दुस्तान पॉलीमर ने स्थापित किया। उसके पश्चात अन्य कंपनियों में विलय एवं अधिग्रहण आदि के बाद वर्ष 1997 में दक्षिणी कोरिया की कंपनी एलजी केम (LG Chem) ने इस कंपनी का अधिग्रहण कर लिया। इसका नाम परिवर्तित करके एलजी पॉलीमर किया गया था। इस दुर्घटना से कर्इ लोगों की मौत हो गर्इ और हजारो की संख्या में बीमार हुए। इस गैस को उदासीन करने के किये पैरा टर्शरी ब्यूटाइल कैचकॉल (PTBC) का प्रयोग किया गया। दुर्घटना से पहले यदि रसायन भरे टैंक का तापमान 17° से नीचे रखा जाता तो इस गैस का रिसाव नही होता। इस घटना के समय केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के अनुसार घटना स्थल के 14 किमी के क्षेत्र में जाइलीन, बेंजीन और टॉलूर्इन की कुछ मात्रा वातावरण में स्पॉट हुर्इ थी।
    स्टाइरीन के बारे मे- स्टाइरीन (\[{{C}_{6}}{{H}_{5}}CH=C{{H}_{2}}\]) एक कार्बनिक यौगिक है। यह एक ज्वलनशील तरल है, जिसका उपयोग प्लास्टिक, पॉलीस्टीरिन, रबर, फाइबरग्लास और लैटेक्स के उत्पादन में किया जाता है।
    स्टाइरीन के संपर्क में आने पर प्रभाव- यह गैस श्वसन तंत्र को प्रभावित करती है। इस गैस से कम समय से संपर्क रहने पर आंखों में जलन, श्वसन संबंधी समस्या, श्लेष्मा झिल्ली में जलन और आंत संबंधी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। लेकिन ज्यादा समय तक सम्पर्क में रहने पर फेफड़ों की मांसपेशियां में पक्षाघात, केंद्रीय तंत्रिका तंत्र प्रभावित होना तथा ऑक्सीजन की कमी होने पर मौत भी हो सकती है तथा कुछ मामलों में कैंसर खतरा होता है। स्टाइरीन के प्रभाव से उत्पन्न होने वाले लक्षण सिरदर्द, सुनार्इ कम देना, थकान होना, कमजोरी होना, ध्यान केंद्रित ना कर पाना आदि हैं।


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