Super Exam General Studies Painting / चित्रकला Question Bank आधुनिक काल में चित्रकला (चित्रकला भाग 4)

  • question_answer
    कलमकारी चित्रकला के संदर्भ में निम्न कथनों पर विचार करें -
    1. यह कलम की कारीगरी है।
    2. कपड़े पर आकृतियों को उभारने के लिये राल और गाय के दूध के मिश्रण का प्रयोग होता है। उपरोक्त में से सत्य कथनों का चुनाव करें

    A) केवल 1

    B) केवल 2

    C) 1 और 2

    D) न तो 1 न ही 2

    Correct Answer: C

    Solution :

    उत्तर - 1 और 2
    व्याख्या - कलमकारी आंध्र प्रदेश की अत्यंत प्राचीन लोक कला है और जैसा कि नाम से स्पष्ट है, यह कलम की कारीगरी है। इस चित्रकला शैली का प्रारम्भ आंध्र प्रदेश के श्रीकलाहस्ति और मछलीपुरम नामक नगरों में हैं। श्रीकलाहस्ति में वर्तमान समय में भी कलमकारी के लिये कलम का उपयोग होता है जबकि मछलीपुरम में ठप्पों का इस्तेमाल होता है। इस चित्रकला शैली में कपड़े पर आकृतियों को उभारने के लिये राल और गाय के दूध के मिश्रण को एक घंटा भिगोकर रखा जाता है और इस पर खमीरी गुड़ में पानी मिलाकर बांस की कलम से चित्र की रूपरेखा खींच दी जाती है। जहां पर रंग भरना है वहां फिटकरी का घोल लगा दिया जाता है। इसके बाद कपड़े को एक मिश्रण में भिगोया जाता है जिसकी प्रतिक्रिया से चित्र के रंग उभर कर दिखार्इ देने लगते हैं। विभिन्न प्रकार के प्रभावों को उत्पन्न करने के लिये गोबर, बीज, फूल और पत्तियों का प्रयोग किया जाता है।
    टिप्पणी - कलमकारी सबसे पारंपरिक भारतीय हस्तशिल्पों में से एक है। इसकी उत्पत्ति 10 वीं शताब्दी में हुर्इ थी जब इसे भारतीय और फारसी व्यापारियों के बीच व्यापार संबंधों के परिणामस्वरूप लिया गया था।


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